38th National Games
38वीं राष्ट्रीय खेलों में एक दिल को छू लेने वाली घटना ने सभी को हैरान कर दिया। एक खिलाड़ी ने बिना उचित जूते के ब्रॉन्ज़ मेडल जीता, और उसकी इस सफलता ने पूरे देश को प्रेरित किया। सोनिया उत्तराखंड की है और उसके पास दौड़ने के लिए सही जूते नहीं थे, फिर भी उसने अपनी कड़ी मेहनत और लगन से 10,000 मीटर दौड़ में कांस्य पदक जीता।
बात चीत के दौरान सोनिया ने बताया की खेल की किट प्राप्त हुई, जिसमें सभी आवश्यक सामग्री शामिल थी, लेकिन एक बड़ी समस्या यह उत्पन्न हो गई कि उसके जूते का साइज (3 नंबर) उस समय उपलब्ध नहीं था। यह मुद्दा उस खिलाड़ी के लिए एक चुनौती बन गया, क्योंकि सही जूते के बिना खेल में प्रदर्शन में मुश्किल हो सकती है ।
![38th National Games](https://harshitatimes.com/wp-content/uploads/2025/02/WhatsApp-Image-2025-02-08-at-10.37.29-PM-1024x682.jpeg)
इस खबर ने जब 38वीं राष्ट्रीय खेलों के विशेष प्रमुख सचिव खेल अमित सिन्हा को पहुंची, तो उन्होंने तुरंत इस सोनिया की स्थिति को गंभीरता से लिया और उसे सभी आवश्यक खेल सामग्री देने का वादा किया। सुबह यह खबर सुनते ही अमित सिन्हा और उत्तराखंड खेल विभाग के अधिकारियों ने इस लड़की की हालत का पता लगाया और उसके लिए तुरंत आवश्यक सामान जुटाने की प्रक्रिया शुरू कर दी। शाम होते-होते, विशेष प्रमुख सचिव खेल अमित सिन्हा ने अपना वादा निभाया।
उन्होंने खुद उस लड़की को अपने कार्यालय में बुलाया और उसे नए जूते पुरस्कार के रूप में दिए। साथ ही सोनिया के राष्ट्रीय खेल में पद विजेता होने पर उत्तराखंड सरकार द्वारा छह लाख रुपये और एक नौकरी भी दी जाएगी।
अमित सिन्हा ने बातचीत के दौरान कहा कि राज्य का नाम रोशन किया, उसका सम्मानित होना अत्यंत महत्वपूर्ण था, और सरकार हमेशा सोनिया जैसी मेहनती खिलाड़ियों के समर्थन में खड़ी रहेगी।
यह पहल उत्तराखंड विशेष प्रमुख सचिव खेल अमित सिन्हा की प्रतिबद्धता को दर्शाती है। उनका यह कदम साबित करता है कि उत्तराखंड में खिलाड़ियों की मदद और उनकी भलाई के लिए हमेशा कदम उठाए जाएंगे। सुबह एक लड़की की स्थिति को जानने के बाद, शाम तक उसे हर वो चीज मिल गई, जिसकी उसे जरूरत थी