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भारी बारिश के बीच खलंगा वन पहुंचे पर्यावरण प्रेमी, जंगल पर कब्जे के खिलाफ दी चेतावनी

green minded
Written by Subodh Bhatt

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देहरादून के ऐतिहासिक खलंगा वन में सैकड़ों पेड़ों के अवैध कटान और अतिक्रमण के विरोध में भारी बारिश के बावजूद दून के पर्यावरण प्रेमी (green minded) मौके पर पहुंचे और इस पुराने जंगल को बचाने का संकल्प लिया। उपस्थित लोगों ने इस मामले को सबसे पहले उठाने वाली सामाजिक कार्यकर्ता दीपशिखा रावत की सराहना की।

इस अवसर पर कांग्रेस नेता और युवा इंटक के प्रदेश अध्यक्ष पंकज सिंह क्षेत्री ने कहा कि वन विभाग ने 22 पेड़ों के कटान को लेकर केस दर्ज किया है, लेकिन मौके की स्थिति देखकर लगता है कि सैकड़ों पेड़ काटे गए हैं। खलंगा के इस सैकड़ों वर्ष पुराने जंगल में अतिक्रमण के खिलाफ स्थानीय लोगों और जागरूक नागरिकों ने मिलकर आवाज उठाई।

उन्होंने सवाल उठाया कि वन विभाग अब तक कहां सो रहा था? कैसे इतने पुराने जंगल पर अतिक्रमण हो गया? क्षेत्री ने कहा कि यह तो सिर्फ शुरुआत है कृ हम खलंगा की ऐतिहासिक धरोहर को नष्ट नहीं होने देंगे।

green minded : गौरतलब है कि वन विभाग ने मामले का संज्ञान लेते हुए कल निर्माण कार्य रुकवा दिया था और मौके पर साल का जंगल होने की पुष्टि की थी। साथ ही 22 पेड़ों को क्षति पहुंचाने के मामले में अपराध दर्ज किया गया है। वन विभाग ने संबंधित भूमि के खसरे की सीमाएं स्पष्ट करने के लिए सर्वे कराने की बात भी कही है।

खलंगा पहुंचे प्रमुख लोगों में दीपशिखा रावत वर्मा, रोहित वर्मा,कांग्रेस राष्ट्रीय प्रवक्ता सुजाता पॉल, प्रदेश प्रवक्तागण अभिनव थापर, गिरिराज किशोर, आशीष नौटियाल एवं विकास थापा, उत्तराखंड आंदोलनकारी एवं सामाजिक कार्यकर्ता जयदीप सकलानी जन गीत गायक सतीश धौलाखंडी, विनय कुमार, युवा इंटक के जिला अध्यक्ष अभिनय बिष्ट आदि सहित कई पर्यावरण प्रेमी शामिल रहे।

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